प्रथम पानीपत युद्ध
भारत के इतिहास में  प्रथम पानीपत युद्ध गुणवत्तापूर्ण युद्ध के रूप में परिचित है पानीपत युद्ध भारत में मुगल साम्राज्य की पहली  नींव रखी    पानीपत की पहली लड़ाई
यह युद्ध बाबर की महत्त्वाकांक्षी योजनाओं की अभिव्यक्ति थी इस युद्ध में बाबर अपने मुगल सेना एवं अफगानी सेना सहित जंगली जाति के लोग जिन्हें बर्बर काही जाता था

उन सेनाओं  के साथ पानीपत पर इब्राहिम लोदी की साम्राज्य पर आक्रमण किया था इस युद्ध में तकरीबन 120000 सेना शामिल हुए थे  प्रथम पानीपत की कैसी लड़ाई थी इस लड़ाई में भारत अपने वस्त्र बारूद     आग्नेयाअस्त्र एवं मैदानी तोपखाना की इस्तेमाल किया गया था।

सन् 1526 में काबुल के तैमुरी शासक जहीर उद्दीन मोहम्मद बाबर की सेना दिल्ली के सुल्तान इब्राहिम लोदी कि 100000 सेना के खिलाफ सिर्फ  15 हजार सेना के साथ पानीपत में लड़ाई के लिए एकत्र हुए लेकिन बाबर सिर्फ 15000 सेना लेकर इब्राहिम लोदी की विशाल 100000 को परास्त किया था

प्रथम पानीपत युद्ध  सन 1526  अप्रैल 21  को पानीपत नामक एक छोटी सी गांव के पास युद्ध हुआ था जो  वर्तमान भारत के हरियाणा राज्य में अवस्थित है बारहवीं शताब्दी के बाद  प्रथम पानीपत युद्ध से पहले भी यहां अनेक निर्णायक लड़ाइयां लड़ी गयी है

एक अनुसंधान के मुताबिक बाबर की सेना में 15,000 से करीब सैनिक और देश से 24 मैदाने तोपों की थी और इब्राहिम लोदी की सेना 100000 से 110000 के आसपास थी टॉप सहित 300 युद्ध हस्तियां भी शामिल थ इसे युद्ध में ग्वालियर के कुछ तोमर राजपूत इब्राहिम लोदी की ओर से लड़े थे।
ऐसा माना जाता है कि, इस युद्ध का निर्णय दोपहर तक ही हो गया था। युद्ध में इब्राहीम लोदी बुरी तरह से परास्त हुआ।

इस युद्ध मे बाबर ने तुग्लमा युद्ध पद्ति का पर्योग किया था, ये अब तक के युदो मे पहला, एअसा युद्ध था जिस मे ये सब का पर्योग किया गया।
ऐसा माना जाता है कि, इस युद्ध का निर्णय दोपहर तक ही हो गया था। युद्ध में इब्राहीम लोदी बुरी तरह से परास्त हुआ।